अदालत ने कहा कि आर्यन खान के मोबाइल फोन से लिए गए वॉट्सऐप चैट से पता चलता है कि ऐसा कुछ आपत्तिजनक नहीं पाया गया, जो दिखाता हो कि उन्होंने, मर्चेंट और धमेचा और मामले के अन्य आरोपियों ने अपराध करने की साजिश रची हो।
आगे इस सुनवाई में ये भी कहा गया कि एनडीपीएस अधिनियम की धारा 67 के तहत स्वापक नियंत्रण ब्यूरो (एनसीबी) ने आर्यन खान का जो स्वीकृति बयान दर्ज किया है, उस पर केवल जांच के मकसद से गौर किया जा सकता है और उसका इस्तेमाल यह निष्कर्ष निकालने के लिए हथियार के तौर पर नहीं किया जा सकता कि आरोपी ने एनडीपीएस अधिनियम के तहत कोई अपराध किया है।
आरोपी पहले ही लगभग 25 दिनों से जेल में बंद हैं। उनका मेडिकल परीक्षण भी नहीं किया गया था ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि क्या उन्होंने संबंधित समय पर नशीली दवाओं का सेवन किया था।
जमानत की सुनवाई में आर्यन खान की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने तर्क दिया था कि यह गिरफ्तारी संवैधानिक प्रावधानों का सीधा उल्लंघन है क्योंकि गिरफ्तारी वारंट में ‘वास्तविक और सही आधार का उल्लेख’ नहीं था।
बॉलीवुड स्टार शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान(Aryan Khan) के जेल से बाहर निकलने का रास्ता साफ हो गया है। बॉम्बे हाई कोर्ट(Bombay High Court) ने गुरुवार को उन्हें क्रूज ड्रग्स केस(Cruise Drugs Case) में जमानत दे दी थी।
आर्यन मुंबई के आर्थर रोड जेल में बंद थे। आर्यन 26 दिनों के बाद जेल से बाहर निकलें थे। उन्हें 3 अक्टूबर को गिरफ्तार किया गया था। आर्यन गिरफ्तारी के बाद से ही सुर्खियों में रहे हैं। उन्हें नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो(NCB) ने क्रूज शिप पर छापे के बाद पकड़ा गया था। आर्यन के अलावा कई अन्य लोगों को ड्रग्स का सेवन करने और साजिश से जुड़े मामले में गिरफ्तार किया गया था।